रायपुर — शिक्षक शिक्षा संस्थानों पर राष्ट्रीय मानकों की निगरानी रखने वाली नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (एनसीटीई) ने देशभर में एक बड़ी कार्रवाई करते हुए 380 बीएड और डीएलएड कॉलेजों की मान्यता समाप्त कर दी है। इस सूची में छत्तीसगढ़ के चार कॉलेज भी शामिल हैं, जिनकी मान्यता रद्द होने से राज्य में शैक्षणिक सत्र 2025–26 से इन कॉलेजों में प्रवेश पूरी तरह बंद हो जाएगा।
क्यों रद्द हुई मान्यता?
एनसीटीई ने स्पष्ट किया है कि जिन कॉलेजों की मान्यता रद्द की गई है, उन्होंने शैक्षणिक वर्ष की अनिवार्य वार्षिक रिपोर्ट समय पर जमा नहीं की थी। इसके लिए कई बार नोटिस जारी किए गए, लेकिन संस्थानों ने कोई उत्तर नहीं दिया। रिपोर्ट न देने और निर्देशों की अवहेलना के चलते एनसीटीई की 423वीं बैठक में यह निर्णय लिया गया।
छत्तीसगढ़ में कितनी सीटों पर असर?
छत्तीसगढ़ में वर्तमान में 140 बीएड कॉलेज और 89 डीएलएड कॉलेज संचालित हैं, जिनमें क्रमशः 14,500 और 6,700 सीटें उपलब्ध थीं। जिन चार कॉलेजों की मान्यता रद्द हुई है, वहां बीएड, डीएलएड और बीएससी-बीएड कोर्स संचालित हो रहे थे। अब राज्य में इन कोर्सों की कुल 250 सीटें घट जाएंगी — जिसमें बीएड की 100, डीएलएड की 100 और बीएससी-बीएड की 50 सीटें शामिल हैं।
मान्यता रद्द किए गए कॉलेजों के नाम:
श्री कृष्णा कॉलेज, जांजगीर-चांपा
कांति दर्शन महाविद्यालय, राजनांदगांव
श्रीराम शिक्षा महाविद्यालय, राजनांदगांव
श्री शिरडी साईं शिक्षण संस्थान, अंबिकापुर
एनसीटीई द्वारा यह कार्रवाई शिक्षक प्रशिक्षण की गुणवत्ता सुनिश्चित करने की दिशा में एक ठोस कदम माना जा रहा है। वहीं, राज्य सरकार छात्रों के हितों को देखते हुए वैकल्पिक व्यवस्थाओं पर विचार कर रही है, ताकि प्रभावित विद्यार्थियों को अन्य विकल्पों में समायोजित किया जा सके।
