रायपुर। छत्तीसगढ़ में शिक्षकों ने युक्तियुक्तकरण की नीति के खिलाफ जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। सर्व शिक्षक संघ छत्तीसगढ़ के बैनर तले तूता धरनास्थल में सैंकड़ों की संख्या में शिक्षक जुटे और सरकार से इस प्रक्रिया को रद्द करने की मांग की। राज्योत्सव मैदान के पास पुलिस ने शिक्षकों को रोकने की कोशिश की, जिससे पुलिस और शिक्षकों के बीच झूमाझटकी हुई। बाद में शिक्षा सचिव ने शिक्षकों के प्रतिनिधिमंडल को चर्चा के लिए बुलाया, जिसके बाद शिक्षक नेताओं का प्रतिनिधिमंडल चर्चा के लिए रवाना हुआ।
पूर्व उपमुख्यमंत्री टीएस सिंहदेव ने इस नीति को अन्यायपूर्ण करार देते हुए सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि यह व्यवस्था न केवल अव्यवहारिक है बल्कि प्रदेश के लाखों बच्चों के भविष्य के साथ क्रूर मज़ाक है। सिंहदेव ने सवाल उठाया कि दो शिक्षक पहली से पांचवीं तक की 18 कक्षाओं को कैसे संभालेंगे? उन्होंने इसे शिक्षा के अधिकार अधिनियम का उल्लंघन बताते हुए कहा कि यदि सरकार बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने में अक्षम है, तो उसे इस्तीफा दे देना चाहिए या फिर शिक्षा व्यवस्था को निजी क्षेत्र को सौंप देनी चाहिए।
बता दें कि स्कूल शिक्षा विभाग ने मंगलवार को आदेश जारी कर प्रदेश के कम दर्ज संख्या वाले स्कूलों को बंद करने और एक ही परिसर में संचालित शालाओं को मर्ज करने की योजना प्रस्तुत की है। सेटअप के अनुसार, 60 से कम छात्रों वाले प्राथमिक विद्यालयों में 1 प्लस वन शिक्षक सेटअप लागू करने की योजना बनाई गई है।
